वैज्ञानिकों को मिला करोड़ों साल पुराना समुद्री गाय का कंकाल
मरने से पहले मगरमच्छ और टाइगर शॉर्क से की थी लड़ाई
ए के सिंह की खास रिर्पोट
वेनेजुएला के एक गांव से हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है. जहां वैज्ञानिकों को करोड़ों साल पुरानी समुद्री गाय का कंकाल मिला है. जिसने अपनी मौत से पहले मगरमच्छ और टाइगर शॉर्क से लड़ाई थी. हालांकि इसके कंकाल से एक बात तो साबित हो गई कि ये एक आलसी शिकारी है.
हमारी धरती रहस्यों से भरी पड़ी है, यहां कई ऐसी चीजें हैं…जिनके बारे में हम लोगों को काफी कम जानकारी है. यही कारण है कि जब कभी इनसे जुड़ा कुछ भी हमारे सामने आता है तो हम लोग दंग रह जाते हैं. अक्सर ऐसी चीजें हमें जमीन की नीचे ही मिलती हैं, जिन्हें वैज्ञानिक अवशेष कहते हैं. वैज्ञानिकों को अब तक कई तरह के जीवाश्म देखने को मिल चुके हैं. जिससे हमें उस समय और क्रिएचर के बारे में बहुत कुछ पता चला है. हालांकि कई बार कुछ फॉसिल बहुत ही चौंकाने वाली देने वाले मिल जाते हैं. इन दिनों भी कुछ ऐसा ही लोगों के बीच चर्चा में है. जिसे देखने के बाद लोग काफी ज्यादा हैरान है.
इस बार वेनेजुएला के एक गांव में समुद्री गाय का अनूठा जीवाश्म मिला है, जिसने अपनी मौत से पहले टाइगर शॉर्क और मगरमच्छ का शिकार किया था. इसा बात की खबर वैज्ञानिकों को उस समय लगी जब एक स्थानीय किसान ने इस पत्थर समझकर इसकी जानकारी डिपार्टमेंट को दी. जीवाश्मों को महीन तलछट में दबे होने के कारण बेहतरीन तरीके से संरक्षित पाया गया. इसकी खास बात ये थी कि इस पर खास दांतों के निशान मिले और ये प्रारंभिक से मध्य मियोसीन युग ( 2.3 करोड़ से 1.16 करोब साल के बीच ) के करीब थे.
मौत से पहले दो शिकारियों से हुई थी लड़ाई
इस पूरी रिपोर्ट को हाल के दिनों में जर्नल ऑफ वर्टेब्रेट पेलियोन्टोलॉजी में छापा गया. जहां समुद्री गाय के मुंह के आगे के हिस्से पर गहरे दांतों के निशान थे, जो ये बताते हैं कि मगरमच्छ ने पहले इसे पकड़ा और इसका दम घोटने की कोशिश की थी. ये ठीक वैसा ही जैसा आज भी मगरमच्छ किसी को शिकार बनाने के लिए करते हैं और इसके अलावा उसकी हड्डियों पर चीरे के निशान थे, जो बताता है कि मगरमच्छ ने अपने हमले के दौरान इसे खूब घसीटा था.
इसके अलावा कंकाल पर कई काटने के निशान भी थे, जिसे देखकर वैज्ञानिकों ने अंदाजा लगाया कि इसकी मौत से पहले ये टाइगर शॉर्क से भिड़ी होगी. ये शार्क भोजन की तलाश के लिए जाने जाते हैं और इन्हें समंदर का कूड़ेदान कहते हैं. इतना सबकुछ अवशेषों पर मिलने के बावजूद ये पता चलता है कि वे लाखों साल पहले भी आलसी शिकारी थे।
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